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In Wajahon Se Apko Bhi Asakte Hein Chkkar |
In Wajahon Se Apko Bhi Asakte Hein Chkkar - अपने आसपास की चीजों को घूमता हुआ महसूस करने या चक्कर आने पर हम अपना संतुलन खो बैठते हैं और बेहोश हो जाते हैं। डॉक्टरों के मुताबिक दिमाग के पिछले हिस्से, कान के बीच या पैरों से मिलने वाले संवेदीतंत्र में खराबी होने से चक्कर आते हैं। दिमाग को ऑक्सीजन व ग्लूकोज की जरूरत होती है और जब शरीर में इनकी कमी होने लगती है तो हमें चक्कर आते हैं।
शरीर में पानी की कमी -
जब शरीर में पानी की कमी हो जाती है तो व्यक्ति बेहोश हो सकता है। इसमें उल्टी, दस्त होना या लू लगना भी शामिल है। तेज धूप में अधिक देर तक खड़े रहने से भी व्यक्ति बेहोश हो सकता है। ऐसा शरीर से पसीना निकलने और पानी की कमी से होता है।
जब शरीर में पानी की कमी हो जाती है तो व्यक्ति बेहोश हो सकता है। इसमें उल्टी, दस्त होना या लू लगना भी शामिल है। तेज धूप में अधिक देर तक खड़े रहने से भी व्यक्ति बेहोश हो सकता है। ऐसा शरीर से पसीना निकलने और पानी की कमी से होता है।
ये करें : रोजाना कम से कम 8 गिलास पानी पिएं। घर से बाहर जाएं तो पानी की बोतल और सिर कवर करने के लिए स्कार्फ या कैप जरूर साथ लेकर जाएं। ऐसी सब्जियां खाएं जो प्राकृतिक रूप से पानी से समृद्ध हों जैसे पालक, मटर, मैथी आदि।
मिर्गी से भी परेशानी -
मिर्गी रोग होने पर व्यक्ति को कभी भी चक्कर आ सकता है। इसमें उसके हाथ-पैर टेढ़े और मुंह से झाग निकलने लगते हैं।
ये करें: चक्कर आने पर मरीज को बाईं करवट से लिटा दें। उसके आसपास भीड़ इक्कठी न करें ताकि वह खुली हवा में सांस ले सके। ऐसे में मरीज की जीभ कटने का डर रहता है इसलिए उसके मुंह में कपड़ा आदि डाल दें। जब व्यक्ति सामान्य हो जाए तो फौरन किसी न्यूरोलॉजिस्ट को दिखाएं।
मिर्गी रोग होने पर व्यक्ति को कभी भी चक्कर आ सकता है। इसमें उसके हाथ-पैर टेढ़े और मुंह से झाग निकलने लगते हैं।
ये करें: चक्कर आने पर मरीज को बाईं करवट से लिटा दें। उसके आसपास भीड़ इक्कठी न करें ताकि वह खुली हवा में सांस ले सके। ऐसे में मरीज की जीभ कटने का डर रहता है इसलिए उसके मुंह में कपड़ा आदि डाल दें। जब व्यक्ति सामान्य हो जाए तो फौरन किसी न्यूरोलॉजिस्ट को दिखाएं।
डॉक्टरी सलाह से ही करें उपवास -
लंबे समय तक उपवास करने या समय पर भोजन नहीं लेने से भी यह समस्या हो सकती है।
ये करें : ग्लूकोज लेवल सामान्य रखने के लिए आप फल खाएं और डॉक्टरी सलाह से ही उपवास करें।
लंबे समय तक उपवास करने या समय पर भोजन नहीं लेने से भी यह समस्या हो सकती है।
ये करें : ग्लूकोज लेवल सामान्य रखने के लिए आप फल खाएं और डॉक्टरी सलाह से ही उपवास करें।
डायबिटीज में दें ध्यान -
रोगी यदि अधिक समय तक भूखा रहे तो उसके शरीर में रक्त शर्करा का स्तर काफी गिर जाता है और वह बेहोश हो सकता है।
ये करें : थोड़े-थोड़े अंतराल में कुछ न कुछ खाते रहें। घर से बाहर जाएं तो चॉकलेट या टॉफी अपने पास जरूर रखें।
रोगी यदि अधिक समय तक भूखा रहे तो उसके शरीर में रक्त शर्करा का स्तर काफी गिर जाता है और वह बेहोश हो सकता है।
ये करें : थोड़े-थोड़े अंतराल में कुछ न कुछ खाते रहें। घर से बाहर जाएं तो चॉकलेट या टॉफी अपने पास जरूर रखें।
सूजन या सिर पर चोट -
कई बार सिर पर लगी चोट भी बेहोशी का कारण बन सकती है। ब्रेन ट्यूमर, दिमाग में सूजन या मस्तिष्क में अन्य विकृति भी इसका कारण हो सकती है।
ये करें : सिर पर चोट से चक्कर आएं या दो साल के अंदर मिर्गी का दौरा पड़े तो न्यूरोलॉजिस्ट को दिखाकर पूरा इलाज कराएं। उनके द्वारा बताई गई जांचें कराएं ताकि सही इलाज हो सके। कई बार ब्लड प्रेशर तेजी से गिरने और गंभीर स्तर पर आने से भी व्यक्ति बेहोश हो सकता है।
कई बार सिर पर लगी चोट भी बेहोशी का कारण बन सकती है। ब्रेन ट्यूमर, दिमाग में सूजन या मस्तिष्क में अन्य विकृति भी इसका कारण हो सकती है।
ये करें : सिर पर चोट से चक्कर आएं या दो साल के अंदर मिर्गी का दौरा पड़े तो न्यूरोलॉजिस्ट को दिखाकर पूरा इलाज कराएं। उनके द्वारा बताई गई जांचें कराएं ताकि सही इलाज हो सके। कई बार ब्लड प्रेशर तेजी से गिरने और गंभीर स्तर पर आने से भी व्यक्ति बेहोश हो सकता है।
In Wajahon Se Apko Bhi Asakte Hein Chkkar - इन वजहों से आपको भी आ सकते हैं चक्कर
Reviewed by health
on
January 27, 2019
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