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Door Karein Stanpaan - दूर करें स्तनपान

Door Karein Stanpaan

Door Karein Stanpaan               

 Door Karein Stanpaan- मां का दूध बच्चे के लिए अमृत के समान होता है। बच्चे को पहला आहार ब्रेस्ट फीडिंग से ही मिलता है, जो बच्चे को स्वस्थ बनाए रखता है। साथ ही स्तनपान कराने से मां को भी फायदा होता है। यह नवजात और मां दोनों के लिए ही फायदेमंद है। बच्चे के जन्म के तुरंत बाद ब्रेस्ट से निकले हुए दूध को कोलोस्ट्रम कहते हैं। ये हल्के पीले रंग का होता है। इसमें कैल्शियम, प्रोटीन, वसा और कार्बोहाइड्रेट की मात्रा अधिक होती है जो बच्चे के लिए बेहद जरूरी है। बच्चे को जन्म के एक घंटे के बाद ब्रेस्ट फीडिंग करा देनी चाहिए। आप जितनी ज्यादा ब्रेस्ट फीडिंग कराएंगी उतनी अधिक कैलोरी बर्न होगी। जानते हैं ब्रेस्ट फीडिंग से जुड़े मिथक और उनकी वास्तविकता के बारे में।

मिथक : दूध खराब हो जाता है यदि वह स्तन में रहे या मां गुस्से में हो।

वास्तविकता : दूध कभी ब्रेस्ट में खराब नहीं होता। यदि मां उदास है तो उसके दूध का बहाव धीमा हो जाता है लेकिन खराब नहीं होता।

मिथक : ब्रेस्टफीडिंग से ब्रेस्ट ढल जाती है।

वास्तविकता : प्रेग्नेंसी, वंशानुगत और उम्र के कारण ब्रेस्ट ढलती है न कि ब्रेस्टफीडिंग से।

मिथक : यदि मां बीमार है तो बच्चे को फीड नहीं कराना चाहिए।

वास्तविकता : अगर बच्चा बीमार हो जाता है तो उसकी बीमारी बे्रस्ट फीडिंग से कम होती है। अगर मां को बुखार या जुकाम हो जाए तो भी वे बच्चे को फीड करवा सकती है। मां तभी बच्चे को फीड नहीं करवा सकती जब उसे एचआइवी, टीबी या एचटीएल वी1 (एक प्रकार का रेट्रोवायरस) हो।

मिथक : हर बार फीड कराने के बाद अपने निप्पल्स को जरूर साफ करें।

वास्तविकता : यह जरूरी नहीं है, इससे छाले या दरार पड़ सकती हैं।

मिथक : लेटकर फीड ना कराएं।

वास्तविकता : यह सिर्फ एक भ्रम है। लेटकर फीड करवाना एकदम सुरक्षित होता है।

मिथक : ऐसा कोई तरीका नहीं जिससे पता चले कि ब्रेस्ट से बच्चे ने कितना दूध पीया।

वास्तविकता : बच्चे के जन्म के चौथे दिन, अगर बच्चा 6-8 बार अच्छे से पेशाब करता है, उसका वजन भी सही है, फीड करने के बाद सो जाता है तो इसका मतलब है कि उसे पर्याप्त मात्रा में दूध मिल रहा है। मां भी फीड के बाद अपने ब्रेस्ट में स्पष्ट रूप से नरमी महसूस कर सकती है।

मिथक : पोस्ट सिजेरियन के बाद पहले दो दिन तक मां बच्चे को फीड नहीं करवा सकती है।

वास्तविकता : कई स्थिति ऐसी होती हैं जिसमें मां अपने पोस्ट सिजेरियन बच्चे को बिना उठे या इधर-उधर खिसके हुए फीड करा सकती हैं। यहां तक कि तुरंत सर्जरी के बाद भी फीड करा सकती हैं।

मिथक : बोतल से दूध पिलाने के बाद फीड कराना आसान होता है।

वास्तविकता : पहले ब्रेस्टफीड कराने के बाद ऊपरी दूध पिलाएंगी तो ज्यादा आसान होगा।



Door Karein Stanpaan - दूर करें स्तनपान  Door Karein Stanpaan - दूर करें स्तनपान Reviewed by health on January 03, 2019 Rating: 5

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